(1) "संविधान बदलने की मंशा कांग्रेस में बैठे मनुवादी मानसिकता के लोगों की भी है ।"
यही कारण है कि भाजपा के लिये शनैः शनैः देश में पूरी तरह काबिज होने में सहयोग कर रहा है । धीरे धीरे मूलनिवासियों को उलझाये रखकर भाजपा को बाकोबर देता जा रहा है ताकि भाजपा के पूर्णरूप से सत्ता में आने तक मूलवासी कोई बडी राजनीतिक ताकत खडी ना कर सकें ।कांग्रेस में बैठे हमारे आदिवासी नेताओं ,समर्थकों को इस बात से झटका महसूस हो सकता है लेकिन यह कटु सत्य है ।-gsmarkam
(2) "तीन तलाक प्रसंग"
असली चिंता का कारण "तीन तलाक" नहीं वोट है ,कथित हिन्दू ,मुस्लिम के बीच आपस में दूरी बनाये रखने का प्रयास है , देखें बानगी ।
असली चिंता का कारण तलाक नहीं वोट है जिसको हासिल करके और अधिक मनमानी किया जा सके । देश में हर मुददा अब वोट कबाडने का साधन बन रहा है । राष्ट्र हित के चिंतन का मतलब सिर्फ वोट की चिंता है सामाजिक सरोकारों की किसी सरकार या जिम्मेदार लोंगों को चिंता नहीं ? मीडिया भी इस तरह के हर मुददे को अपनी चाटुकारिता की हवा देने में लगता रहता है ! महिला स्वतंत्रता के पक्ष में सभी वर्ग है पर इस प्रकरण की समीक्षा मीडिया के माध्यम से इस तरह से किया जाना राष्ट्र समुदाय के लिये घातक है ।
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